First Sex with GF | गर्लफ्रेंड के प्यार और सेक्स की कहानी | Desi Hot Stories

फर्स्ट सेक्स विद GF कहानी में मैं एक लड़की को पसन्द करता था. उससे मेरी दोस्ती और प्यार हो गया. वैलेंटाइन पर किस के बाद उसने सेक्स के लिए मना कर दिया. तब मैंने उसे कैसे चोदा?

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गर्लफ्रेंड के प्यार और सेक्स की कहानी


दोस्तो, मेरा नाम रोनी है और हरियाणा के एक छोटे से गांव से हूं।
मैं दिखने में थोड़ा हैंडसम हूं, हाइट 5.6 इंच है।
और अभी मैं NHAI में काम कर रहा हूं।

यहां कहानी पढ़ने वाले सभी लड़कों को चूत और लड़कियों को लन्ड समय पर मिलते रहे।



ज्यादा समय ना लेते हुए अपनी कहानी पर आता हूं।
यह फर्स्ट सेक्स विद GF कहानी सेक्स से ज्यादा मेरे प्यार की है। यह कहानी है मेरी और मेरी गर्लफ्रेंड के प्यार और सेक्स की।

कहानी उस समय की है जब मैं कॉलेज में पढ़ता था।
कॉलेज का फर्स्ट ईयर मेरा ऐसे ही बर्बाद हो गया क्योंकि मेरा कॉलेज में बिल्कुल मन नहीं लगता था।

वह छोटा सा कॉलेज था जहां इतना ज्यादा फन नहीं होता था।
सभी टीचरों को क्लास से मतलब था और कुछ क्लास लगते ही छुट्टी हो जाया करती थी।

फिर सेकंड ईयर शुरू हुआ।
सेकंड ईयर में एक लड़की आई जिसका नाम था नेहा!

नेहा को पहली बार देखा तो ऐसा लगा कि जैसे यही वो लड़की है जिसकी मुझे तलाश थी।
नेहा के बारे में आपको बताऊं तो वह 5.3 इंच हाइट के साथ एक भरे शरीर की मालकिन थी।
उसका फिगर 32-28-34 था।

मैंने पहले दिन ही बहाने से उससे बात की।
उसकी क्लास का एक लड़का मेरे पास बैठा था जो उससे नोटबुक मांगने में झिझक रहा था जिसमें उसने पहले दिन पूरी साल का स्लेबस नोट किया था।
तो मैंने नेहा से उसकी नोटबुक मांगी।

उसने मेरी तरफ गुस्से से देखा और नोटबुक दे दी।

मुझे लगा कि शायद मैं उसे पसंद नहीं हूं और वह मुझसे बात नहीं करना चाहती है।
तो मैं उससे दूर रहने लगा।
बस उसे चोरी चोरी देखता रहता था, उसकी क्लास में जाकर बैठ जाया करता था।

मैंने उसकी क्लास के लड़कों से दोस्ती कर ली; उसके बारे में पूछने लगा।
उसकी काफी जानकारियां मुझे मिल चुकी थी।

जब वह कभी पानी पीने के लिए या वॉशरूम के लिए जाती … मैं उसके रास्ते में खड़ा हो जाता था और उसे आते जाते देखता था।
धीरे-धीरे उसे भी लगने लगा था कि मैं उससे प्यार करता हूं।

लेकिन मैंने उसे कभी प्रपोज नहीं किया।
3 महीने ऐसे ही गुजर गये।



एक दिन मुझे एक लड़की की कॉल आई।
उसका नाम अंजू था और वह नेहा की बेस्ट फ्रेंड थी।

वह बोली- क्या आप नेहा को पसंद करते हो?
तो मैं अपने जज्बात काबू नहीं रख पाया, मैंने कहा- मैं उसे इतना प्यार करता हूं कि उसके लिए जान भी दे सकता हूं।

तभी उसने फोन नेहा को दिया.
2 मिनट ही बातें हुई.
उसके बाद वह बोली कि उसे घर जाना है। उसके पास पर्सनल फोन नहीं है। वह कल कॉलेज में आकर बात करेगी।

फिर अगले दिन में कॉलेज में हम दोनों मिले और बहुत सारी बातें हुई।
नेहा जल्दी ही मुझसे घुल मिल गई थी।

यह बात दिसंबर महीने की है और जल्दी ही वैलेंटाइन वीक आ गया।

किस डे पर मैंने नेहा से किस के लिए पूछा.
तो उसने एकदम से हां कर दी जैसे वह इसी बात का इंतजार कर रही हो।

हम पागलों की तरह किस किए जा रहे थे और समय का पता ही नहीं लगा.
आधा घंटा लगातार हम किस करते रहे.
वो हम दोनों का पहला किस था।

इसके बाद नेहा ने वैलेंटाइन डे पर मिलने से मना कर दिया।
उसने कहा कि उसके घर वाले उसे घर से बाहर नहीं निकलने देंगे।

फिर कुछ दिन ऐसा ही चलता रहा।
हम कॉफी शॉप में मिलते रहे, किस करते रहे, मैं उसके कभी-कभी चूचियां दबा दिया करता था, गांड पर हाथ फेर लिया करता था, उसकी पैन्ट में हाथ डालकर चूत में उंगली डाल दिया करता था।

एक दिन मैंने कहीं बाहर चलने के लिए बोला.
तो वह मान गई।

मैं उसे एक होटल में लेकर गया।
वहां हमने खूब किस किए।

मैंने नेहा के ऊपर के सारे कपड़े निकाल दिए और उसके नंगे चूचों पर टूट पड़ा पड़ा।

15:20 मिनट तक मैं नेहा के चूचे पूरे मसल मसल कर चूसता रहा, पीता रहा उसके बाद उसके पेट पर बहुत से किस किए।
जब मैंने उसकी पैन्ट खोलनी चाही तो उसने मना कर दिया, बोली- ये सब शादी के बाद करेंगे।

मैंने बहुत कोशिश की.
पर वह नहीं मानी.

मैं उसके साथ जबरदस्ती नहीं करना चाहता था क्योंकि उसके सर पर प्यार का भूत चढ़ा था और मैं उसे किसी भी कीमत पर खोना नहीं चाहता था।
इसलिए हम कुछ बिना किए ही रूम से बाहर आ गए।

मेरे दोस्तों ने मुझसे पूछा कि क्या क्या हुआ.
तो मैंने उनको सब सच बता दिया।
उन्होंने मेरा बहुत मजाक बनाया कि बहन चोद एक बंदी को भी ढंग से चोद नहीं पाया।

मेरा कॉलेज खत्म हो गया क्योंकि वह 2 साल का एक डिप्लोमा था।
कॉलेज जाना बंद हो गया.
पर नेहा जाती थी।

उसके बाद मैं चंडीगढ़ शिफ्ट हो गया एक साल चंडीगढ़ रहा।
इस बीच हमारी फोन पर बातें होती थी।

नेहा के घर वालों से मैंने शादी के लिए बात की.
परंतु हमारे गोत्र मिल जाने के कारण हमारी शादी तय नहीं हो सकी.
और नेहा के अफेयर के बारे में पता चलने पर उसके घर वालों ने उसकी शादी दूसरी जगह तय कर दी।

मैंने नेहा से भागने के लिए बोला.
परंतु नेहा ने जवाब दिया- मैं अपने घर वालों के खिलाफ नहीं जा सकती।

हमारी बातें बंद हो गई।

एक हफ्ते बाद नेहा का फिर से कॉल आया, बोली- मुझे तुमसे मिलना है।
मैंने उससे मिलने की जगह और टाइम पूछा तो उसने बोला- वही होटल!
और हमारी डेट फिक्स हो गई।

नेहा ने वहां पहले ही रूम बुक कर रखा था।
कमरे में घुसते ही नेहा मुझ पर पागलों की तरह टूट पड़ी।
वह मुझे बेतहाशा किस करने लगी, मैं भी उसका साथ देने लगा।

धीरे-धीरे नेहा बहुत गर्म हो गई, उसने मेरी टीशर्ट निकाल दी.
मैंने भी नेहा का टॉप निकाल दिया।

नेहा लाल रंग की ब्रा पहने हुए थी जिसमें वह किसी परी से कम नहीं लग रही थी।
मैं उसे देखता ही रह गया और वह ऐसे देखने से शरमाने लगी।

मैं नेहा को माथे से लेकर गले तक बेतहाशा चूम रहा था और नेहा उसका जवाब अपने सिसकारियों से दे रही थी।

धीरे-धीरे मैं नेहा की चूचियों की तरफ बड़ा और उसकी ब्रा निकाल दी।

उसकी 32 साइज की चूचियां मुंह में लेकर पीने लगा.
काफी देर तक मैं उसकी चूचियों को पीता रहा जब तक वह पूरा लाल ना हो गए।

नेहा की सिसकारियों से पूरा कमरा गूंज रहा था।
वह मेरा नाम ले ले कर उसे कच्चा खा जाने की कह रही थी।

इस बीच मैंने उसको काफी बार काटा भी … जिससे उसकी चूचियों के ऊपर काफी गहरे निशान हो गए थे।

फिर धीरे से मैंने उसके पेट पर हर जगह किस किया, उसकी नाभि को चूमने लगा।
नेहा गांड उठा उठा कर मेरा साथ दे रही थी।
उसकी ‘आह रोनी … उम्म्म जानू … ओह्ह …’ की आवाजें जैसे कह रही हो कि मैं उसकी नाभि के अंदर घुस जाऊं।

फिर धीरे से मैंने नेहा की पेंट उतार दी।
अब वह सिर्फ पेंटी में थी।

मैंने अपनी पैंट उतार कर एक साइड की और मैं अब सिर्फ अपने अंडरवियर में था.
मेरा लन्ड भी पूरे उफान पर था जिसका लक्ष्य सिर्फ नेहा की चूत थी।

मैंने नेहा की पेंटी उतारी उसकी चूत पर अपना मुंह लगा दिया।
नेहा को तो जैसे 240 वोट का करंट लगा. वह एकदम से सिहर उठी और एक बड़ी चीख के साथ मेरा सिर अपनी चूत पर दबाने लगी.

करीब 10 मिनट तक मैंने नेहा की चूत चूसी।
जैसे ही जीभ अंदर तक डालता, वह अपने सिर को उठा उठा कर पटकने लगती।

उसके बाद उसका शरीर अकड़ गया और वह मेरे मुंह में ही झड़ गई।
मैंने नेहा का सारा रस पी लिया और वह निढाल होकर गिर गई।

फिर मैंने अपना अंडरवियर उतारा।

नेहा ने इससे पहले कभी लन्ड नहीं देखा था.
तो वह बोली- इतना बड़ा मेरी छोटी चूत के अंदर कैसे जाएगा?
मैंने उससे कहा- डार्लिंग, तुम अपना काम करो। अंदर डालने का काम मेरा है।

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हम फोन पर बहुत सेक्स चैट करते थे।
इसमें मैं बार-बार नेहा को लन्ड चूसने के लिए कहता था।
तो नेहा को पता था उसे अब क्या करना है।

अब नेहा मेरा लन्ड चूस रही थी और मेरी गोलियों के साथ खेल रही थी।
नेहा बेशक पहली बार लन्ड पूछ रही थी परंतु उसके लन्ड चूसने का तरीका बहुत ही प्यारा था।
फिर मैंने उसे सीधा लेटा लिया और उसकी गांड के नीचे दो तकिया लगा दिए।

जिससे उसकी चूत का छेद बिल्कुल मेरे लन्ड के सामने आ गया।
मैंने अपना लन्ड चूत पर दबाया।
लन्ड फिसल गया.

मैंने थोड़ा सा थूक लगाया और इस बार मेरा लन्ड का टोपा धीरे से नेहा की चूत में घुस गया।
नेहा कसमसा उठी और मेरे पेट पर हाथ लगाकर मुझे पीछे धकेलने लगी।

मैं कुछ देर ऐसे ही रहा।
नेहा नॉर्मल हो गई.

फिर मैं नेहा के ऊपर लेटा उसके होठों को अपने होठों में ले लिया।
एक करारा शॉट मारा मेरा आधा लन्ड नेहा की चूत में घुस चुका था.

नेहा मेरी कमर पर बार-बार मुक्के मार रही थी।
उसे बहुत ज्यादा दर्द हो रहा था, उसने मेरा होंठ भी काट लिया था।

मैंने लन्ड को पीछे खींचा और फिर से दमदार शॉट मारा.
मेरा लन्ड नेहा की चूत को फाड़ता हुआ पूरा अंदर समा चुका था।

नेहा से दर्द सहन नहीं हो पाया.
उसकी आंखों से आंसू निकल रहे थे और वह लगभग बेहोश होने वाली थी।

मैंने उससे बातें करनी शुरू की, उसको समझाया.
5 मिनट बाद वह नॉर्मल हो गई.

फिर मैंने अपने लन्ड को आगे पीछे करना शुरू किया।
तब भी उसे दर्द हो रहा था, वह बार-बार मना कर रही थी।

मैंने अपने धक्कों की स्पीड बढ़ाई, परंतु उसका दर्द कम ही नहीं हो रहा था।
करीब 10 मिनट के बाद वह मेरा साथ देने लगी और चूतड़ उठा उठा कर अपनी चूत में पूरा लन्ड लेने लगी.

मैंने 10 मिनट तक उसको उसी पोजीशन में चोदा.
फिर साइड में आकर पीछे से उसकी चूत में लन्ड डालकर मिशनरी पोजीशन बना ली।

5 मिनट बाद एक लंबी आह के साथ वह झड़ गई।

मैं अभी भी उसकी चूत में धक्के मार रहा था.
मैंने उसे घोड़ी बना लिया.
परंतु उसकी चूत की गर्मी मेरे लन्ड को ज्यादा देर टिकने देने वाली नहीं थी।

जल्दी में भी उसकी चूत में बरस गया।
फर्स्ट सेक्स विद GF के बाद मैं उसके ऊपर ऐसे ही पड़ा रहा.

कुछ देर बाद वह वॉशरूम चली गई और फ्रेश होकर आई।

उसने चादर पर देखा तो वहां नेहा की चूत का खून और माल मिक्स होकर चादर पर सूख गया था।

नेहा को बहुत शर्म आई, बोली- होटल वाले क्या बोलेंगे।
वह खुद को शर्मिंदा महसूस करने लगी।

मैंने उसे समझाया कि होटल वालों का यह रोज का काम है।

उसके बाद नेहा मुझसे चिपक कर लेट गई.

मेरा लन्ड फिर से हरकत में आने लगा और नेहा की एक बार फिर से दमदार चुदाई की।

नेहा का एकदम से मुझसे चुदाने का कारण अब समझ आया।
वह बोली- काश मैं तुम्हारी चुदाई से प्रेग्नेंट हो जाऊं। शादी के बाद क्या पता मैं तुमसे मिल पाऊं या ना मिल पाऊं। तुम्हारी निशानी तो मेरे साथ रहेगी।

10 दिन बाद उसकी शादी हो गई।
उसके बाद मेरी उससे कभी बात नहीं हुई।

मुझे तो यह भी नहीं पता कि वह प्रेग्नेंट हुई या नहीं हुई।

उसके बाद मेरा और कहीं दिल लगाने का मन ही नहीं किया और मैं आज तक सिंगल ही हूं।

तो दोस्तो, यह थी मेरे और नेहा के प्यार और सेक्स की कहानी।
अपने ईमेल के जरिए जरूर बताइएगा कि कहानी कैसी लगी.
जल्द ही एक नई कहानी के साथ आपको दोबारा मिलूंगा.
धन्यवाद.

फर्स्ट सेक्स विद GF कहानी पर आप सभी के ईमेल का इंतजार रहेगा.

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